Himalayan 450 अपने दमदार लिक्विड-कूल्ड “शेरपा” इंजन की वजह से काफी चर्चा में है। यह बाइक बेहतरीन परफॉरमेंस और पावर देती है, लेकिन इसके इंजन की एक ऐसी सच्चाई है जिसके बारे में सर्विस सेंटर वाले अक्सर खुलकर बात नहीं करते। यह कोई खराबी नहीं, बल्कि एक डिज़ाइन चॉइस है जो आपकी जेब पर भारी पड़ सकती है।
नया “Himalayan 450 ” इंजन: एक मॉडर्न पावरहाउस
Himalayan 450 का 452cc, लिक्विड-कूल्ड इंजन कंपनी के लिए एक बड़ा कदम है। यह पुरानी हिमालयन के मुकाबले ज्यादा पावर और टॉर्क देता है, जिससे हाईवे और ऑफ-रोडिंग दोनों पर एक नया अनुभव मिलता है। लेकिन इस मॉडर्न इंजन के साथ एक मॉडर्न मेंटेनेंस तकनीक भी आती है जो हर किसी के लिए फायदेमंद नहीं है।
असली कहानी: वाल्व क्लीयरेंस एडजस्टमेंट
बाइक के इंजन को लंबे समय तक स्वस्थ रखने के लिए वाल्व क्लीयरेंस (जिसे टैपेट सेटिंग भी कहते हैं) को सही रखना ज़रूरी होता है। पुरानी हिमालयन 411 में यह काम स्क्रू-और-लॉकनट सिस्टम से होता था, जो काफी आसान और सस्ता था।
लेकिन नई Himalayan 450 में “शिम-अंडर-बकेट” (Shim-under-bucket) सिस्टम का इस्तेमाल किया गया है। यह एक ऐसी तकनीक है जो आमतौर पर हाई-परफॉरमेंस और रेसिंग बाइक्स में देखने को मिलती है।

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Himalayan 450 शिम-अंडर-बकेट: फायदा या नुकसान?
यह सिस्टम एक दोधारी तलवार की तरह है। इसके फायदे और नुकसान दोनों हैं, जिन्हें समझना ज़रूरी है।
- फायदा: इस सिस्टम में वाल्व क्लीयरेंस जल्दी आउट नहीं होता। यानी आपको बार-बार एडजस्टमेंट की ज़रूरत नहीं पड़ती और इंजन लंबे समय तक स्मूथ चलता है।
- नुकसान (जो छुपाया जाता है): जब वाल्व एडजस्टमेंट की ज़रूरत पड़ती है, तो यह प्रक्रिया बहुत जटिल, समय लेने वाली और महंगी हो जाती है।
सर्विस के दौरान क्या होता है?
पुरानी हिमालयन में कोई भी अच्छा मैकेनिक कुछ ही देर में टैपेट सेट कर सकता था। लेकिन Himalayan 450 में वाल्व एडजस्ट करने के लिए:
- पूरा फ्यूल टैंक हटाना पड़ता है।
- इंजन ऑयल निकालना पड़ता है।
- कैमशाफ़्ट को बाहर निकालना पड़ता है।
- इसके बाद सही मोटाई के “शिम” को मापने और बदलने के लिए खास टूल लगते हैं।
यह काम हर लोकल मैकेनिक नहीं कर सकता और अधिकृत सर्विस सेंटर पर इसके लिए काफी ज़्यादा लेबर चार्ज लगता है।
निष्कर्ष
Himalayan 450 का इंजन खराब नहीं है, बल्कि उसका मेंटेनेंस महंगा और जटिल है। अगर आप एक ऐसे राइडर हैं जो छोटे-मोटे काम खुद करना पसंद करते हैं या दूर-दराज के इलाकों में रहते हैं जहाँ अच्छे सर्विस सेंटर नहीं हैं, तो यह आपके लिए एक बड़ी समस्या बन सकती है। यह वो छुपी हुई लागत है जिसके बारे में खरीदने से पहले आपको ज़रूर सोचना चाहिए।
डिस्क्लेमर: इस लेख में दी गई जानकारी इंटरनेट और आम स्रोतों से ली गई है। कीमतें और फीचर्स समय के साथ बदल सकते हैं। इसलिए कुछ भी खरीदने से पहले आधिकारिक वेबसाइट या डीलर से जानकारी जरूर जांच लें।